मुझे कॉमिक्स पढ़ना पसंद है खास करके सुपर हीरो genre वाली कॉमिक्स। इसलिए अगर मैं कहीं पर भी कोई भी सुपर हीरो की कॉमिक्स देखता हूं तो उसे तुरंत खरीद लेता हूं। अपनी इसी आदत के चलते मैंने फेनिल कॉमिक्स से bulk में काफी सारी कॉमिक्स आर्डर करके मंगवाई। हालांकि फेनील कॉमिक्स मेरे लिए नई नहीं है, क्योंकि मैं पूर्व में भी फेनिल कॉमिक्स द्वारा प्रकाशित फौलाद कलेक्टर एडिशन और बजरंगी का थ्री इन वन डाइजेस्ट पढ़ चुका हूं। इन दोनों ही किरदारों और कहानियों को मैंने काफी पसंद किया। इसलिए मेरे मन में विचार आया कि क्यों न फेनिल कॉमिक्स यूनिवर्स के अन्य सभी किरदारों के कथानक कल लुत्फ उठाया जाए। बस यही सोचकर मैंने फेनिल कॉमिक्स द्वारा प्रकाशित वह सभी कॉमिक्स मंगा ली है जो अभी तक मेरे कलेक्शन में नहीं थे।
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क्राइम फाइटर… when Inspector Vinay becomes Doga
फेनिल कॉमिक्स की एक बात मुझे खास पसंद नहीं आई और वह यह है की इनके सभी कॉमिक्स अलग-अलग आकार के होते हैं जिसकी वजह से एक ही प्रकाशक की सभी कॉमिक्स को एक pile में रखना थोड़ा difficult होता है।
खैर कॉमिक्स तो आ गई, पर अब बड़ा निर्णय यह था की किस कॉमिक से शुरुआत की जाए। काफी उलटने पलटने के पश्चात मैंने फेनिल कॉमिक्स के इंस्पेक्टर विनय और डोगा के कंबाइंड एडिशन की कॉमिक्स को पढ़ने का निर्णय लिया। इस किरदार का नाम रखा गया है क्राइम फाइटर।
सौरभ सक्सेना मुंबई पुलिस का एक जांबाज़ इंस्पेक्टर है, जो कानून के दायरे में काम करते वक्त आने वाली परेशानियों से तंग आकर, कानून तोड़कर कानून की हिफाजत करने वाले एक सुपर हीरो का alter ego अपना लेता है। इस किरदार की कुल 3 कॉमिक्स मुझे प्राप्त हुई जिनके शीर्षक है
1. क्राइम फाइटर
2. ब्लैक गोल्ड
3. मुखबिर
तो आइए करते हैं इन तीनों कॉमिक्स का एक quick dissection.
1. कथानक
हालांकि फेनील जी ने फौलाद और बजरंगी जैसे अच्छे किरदार दिए है, लेकिन इस बार उनकी परिकल्पना उन्हे धोखा दे गई है। क्राइम फाइटर किरदार एक बेहद कमजोर किरदार है। प्रथम अंक में दिखाया गया इसका origin शायद कॉमिक्स इतिहास के सबसे कमजोर superhero origin मे से एक है।
कहानियां बेहद साधारण बनी है। ब्लैक गोल्ड सीरीज का विलन अन्ना गोलमाल काफी cartoonish लगता है। डायलॉग अत्यधिक फिल्मी है और कुछ जगह तो फिल्मों से उठाए गए लगते हैं। तीनों कॉमिक्स में ऐसा कुछ भी नहीं है जो एक नए पाठक को अगले कॉमिक्स का इंतजार करने के लिए मजबूर कर सके।
2. चित्रांकन
क्राइम फाइटर कॉमिक्स में आरके सुदर्शन का चित्रांकन है जोकि बहुत ही बेसिक लेवल का आर्ट लगता है।
वहीं आगामी दोनों अंक में गौरव श्रीवास्तव का आर्ट है जो की पहली कॉमिक्स के मुकाबले काफी बेहतर है किंतु मुख्य किरदार को किसी भी पैनल में देख कर सुपर हीरो वाली feeling नहीं आती है। और यही इस कॉमिक्स का सबसे नेगेटिव प्वाइंट है।
कुल मिलाकर, क्राइम फाइटर एक बेहद नीरस एवं जल्दी में लिखा गया किरदार प्रतीत होता है।
My Verdict – 2/10
Archit Srivastava
Dr Archit Srivastava aka Archwordsmith is a practicing doctor, writer and poet. He has penned over 300+ poems and stories over 26 years from a tender age of 10 years.
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Nagraj Fang... nostalgia trap
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हम्म… बढ़िया फेनिल कॉमिक्स मैंने नहीं पढ़ी… बजरंगी वाली पढ़ने की कोशिश रहेगी…